गाजीपुर से विद्यासागर उपाध्याय की रिपोर्ट…
गाजीपुर। लोगों की जिंदगी बचाने में अहम भूमिका निभाने वाले एंबुलेंस चालकों का आंदोलन रोकने के लिए जिलाधिकारी एमपी सिंह ने सख्त कदम उठाया है। 102 और 108 एंबुलेंस चालक पिछले कई दिनों से हड़ताल पर हैं। इस वजह से मरीजों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। शासन द्वारा एस्मा भी लगाया गया था। बावजूद जिले के एंबुलस चालकों ने अपना हड़ताल जारी रखा है। इसको देखते हुए जिला अधिकारी के निर्देश पर एंबुलेंस के छह चालकों के खिलाफ कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया गया है। साथ ही एंबुलेंस को अब दूसरे ड्राइवर और स्वास्थ्य विभाग के स्टाफ को ईएमटी के रूप में शामिल कर इस सेवा को बहाल कर दिया गया है। इस संबंध में एसीएमओ एवं नोडल डॉ डीपी सिन्हा ने बताया कि 102 और 108 एंबुलेंस के सभी पुराने चालकों ने एंबुलेंस की चाबी हैंड ओवर कर दी है। इसके बाद सेवा प्रदाता जीवीके कंपनी ने नए ड्राइवरों की व्यवस्था कर स्वास्थ्य व्यवस्था को पटरी पर लाने का काम शुरू कर दिया है । उन्होंने बताया कि जनपद में 108 एंबुलेंस जिनकी संख्या 37 है इसमें से 35 रनिंग मोड में आ गए हैं । वही 102 एंबुलेंस जिनकी संख्या 42 है उसमें से 33 एंबुलेंस कार्यरत हो गई है। इसके साथ ही तीन एएलएस एंबुलेंस भी अब अपने काम में लग गई है। उन्होंने बताया कि एंबुलेंस में ईएमटी के रूप में पुरुष सीएचओ ,एएनएम,मेल स्टाफ नर्स को लगाया गया है। जिससे स्वास्थ्य व्यवस्था अब पटरी आ गई है। बताया कि कुछ पुराने एंबुलेंस ड्राइवर जो एंबुलेंस के चलाने में बाधा उत्पन्न कर रहे थे उनके खिलाफ आवश्यक सेवा अनुरक्षण अधिनियम 1981 की धारा ती और चार के तहत कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया गया है।