अमित ने बढ़ाया “बलिया” का मान, तामिलनाड़ू में बने…

बलिया। बागी बलिया की धरती पर जन्मे अमित आनंद तिवारी ने जिले का मान बढ़ाया है। आनंद तिवारी को तमिलनाडु राज्य के लिए अतिरिक्त महाधिवक्ता नियुक्त किया गया है। आनंद कई बड़े मामलों में वकालत कर चुके हैं। वह उत्तराखंड के उप महाधिवक्ता के तौर पर भी काम कर चुके हैं। और अब भी तमिलनाडु में अतिरिक्त महाधिवक्ता नियुक्त किया गया है। उनका कहना है कि वह इस जिम्मेदारी को बखूखी निभाएंगे।

कौन हैं अमित आनंद तिवारी

अमित आनंद तिवारी पकड़ी थाना क्षेत्र के गढ़मलपुर निवासी है। श्री तिवारी के पिता आनंद प्रकाश तिवारी उत्तर प्रदेश पुलिस के सीओ पद से रिटायर्ड हैं। उनके तीन बेटे हैं, जिनमे अमित आनंद तिवारी अपने तीनो भाइयों में सबसे छोटे हैं। तिवारी की सुरूवाती शिक्षा गोरखपुर में ही हुई। इसके बाद उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी से एलएलबी और एलएलएम किया और 2001 से सुप्रीम कोर्ट में वकालत कर रहे हैं। तिवारी पूर्व एएसजी ए. शरण के जूनियर थे। विभिन्न संवैधानिक महत्व के मामलों में पेश हो चुके हैं।

2002 से संबंधित गुजरात चुनाव राष्ट्रपति के संदर्भ में और एम.नागराज केस जहां प्रोमोशन में आरक्षण का बचाव किया था। हाल ही में मराठा आरक्षण मामले में उन्हें प्रतिनिधित्व करने का गौरव मिला था। उन्हें 2008-2010 के दौरान केंद्रीय सूचना आयोग के समक्ष भारत के माननीय सर्वोच्च न्यायालय का प्रतिनिधित्व करने का गौरव प्राप्त था। उन्होंने 2004-2009 तक यूओआई के लिए वकील और 2016-2018 तक उत्तराखंड के उप महाधिवक्ता के रूप में काम किया। तिवारी सीबीआई के विशेष वकील हैं और कोयला घोटाले के विभिन्न संवेदनशील मामलों में पेश हुएहैं। वह महत्वपूर्ण मामलों में डीएमके और उसके नेताओं का प्रतिनिधित्व करते रहे हैं। विशेष रूप से संवैधानिक और चुनाव कानून से संबंधित, जिसमें दलबदल विरोधी कानून भी शामिल है। अनांद तिवारी ने हाल ही में, थरु को जारी विशेषाधिकार उल्लंघन नोटिस के खिलाफ सफलतापूर्वक तर्क दिया। एम.के. स्टालिन और द्रमुक के 20 विधायक मद्रास उच्च न्यायालय के समक्ष। वह अधिवक्ताओं के कल्याण के मुद्दों में भी सक्रिय रूप से शामिल हैं और 2014-2016 से एससी में निर्वाचित बार प्रतिनिधि रहे हैं।

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